बिखरे बिखरे से अल्फाज़ हैं टूटे टूटे से हम पता नही क्या हुआ क्यों हुआ खामोश हूं मैं उदास नहीं शायद कहीं पर जान अटकी हैं लिखने बैठूं तो अल...
अनोखा चेहरा - ANOKHA CHEHARA
ये ज़ख्म अब भर क्यों नही जाता जो बीत गया वो भुला क्यों नही जाता हर वक़्त क्यों तलाशती हैं उसे ये निगाहें उसकी यादों से मैं जुदा क्यों नही ह...
अनोखा चेहरा - ANOKHA CHEHARA
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फ़रवरी 03, 2022
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