किसी के होठों की मुस्कान हमारी पहचान बनती है । मगर उनकी चुप्पी सीधा हमारे दिल से सवाल करती है । किसी की एक मुस्कान से अपनी...
तन्हाई तू भी बोल कभी - TANHAI TU BHI BOL KABHI
दिल के सन्नाटे खोल कभी । सारे बंधन तोड़ अभी । तन्हाई तू भी बोल कभी । अकेला पन चुनता रहता है । क्यों रिश्तों से दूर रहता है । ज...
तन्हाई तू भी बोल कभी - TANHAI TU BHI BOL KABHI
Reviewed by The zishan's view
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अप्रैल 07, 2020
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सिलसिला चाहत क - SILSILA CHAHAT KA
बातों बातों में जो बात ढल गई । वो अब लफ़्ज़ों में आ गई । सिलसिला ऐसा हुआ बातों का । रात भर शम्मा सी जल गई । किन लफ़्ज़ों में लिखू अपने ...
सिलसिला चाहत क - SILSILA CHAHAT KA
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अप्रैल 07, 2020
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